रांची. मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि वित्त रहित शिक्षा नीति समाप्त करने के लिए रिटायर्ड जस्टिस की अध्यक्षता में हाइलेबल कमेटी गठित की जाएगी। मुख्य सचिव को कमेटी गठन का मौके पर ही निर्देश दे दिया। कमेटी की रिपोर्ट के आधार पर समुचित कार्यवाही की जाएगी। बेहतर कॉलेजों को घटानुदान समेत अन्य सुविधाएं देने पर विचार किया जाएगा। मुख्यमंत्री गुरुवार को विधानसभा स्थित अपने कक्ष में झारखंड राज्य वित्तरहित शिक्षा संयुक्त संघर्ष मोर्चा के प्रतिनिधिमंडल से बातचीत कर रहे थे।
आज तक कमेटी का गठन नहीं हो सका
इससे पहले शिक्षक प्रतिनिधियों ने कहा कि 24 अक्टूबर को आपके आवास पर मोर्चा का प्रतिनिधिमंडल मिला था। तब अापने हाइलेबल कमेटी गठित करने का आश्वासन दिया था। पर आज तक कमेटी का गठन नहीं हो सका है। इससे शिक्षकों में रोष है। प्रतिनिधिमंडल में रघुनाथ सिंह, विजय कुमार झा, डॉ. सुरेंद्र झा, देवनाथ सिंह, नरेश चंद्र घोष, अरविंद कुमार सिंह शामिल थे।
इन लंबित डिमांड पर बनी है सहमति
-वित्तीय वर्ष 2018-19 का अनुदान राशि नियमावली और निर्धारित स्लैब के अनुसार दी जाएगी।
-संस्थानों की भूमि की कमी पर सीएम ने कहा, कार्यवाही के लिए मुख्य सचिव को भेजा गया है।
-इंटरमीडिएट सेवा शर्त नियमावली को स्वीकृति के लिए प्रस्ताव को मंत्री परिषद में भेजी जाएगी।
-अनुदान राशि सीधे शिक्षकों के खाते में भेजने के प्रस्ताव को भी मुख्य सचिव के पास भेजा गया।
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